नर्मदापुरम (ब्यूरो) - राज्य में अवैध रेत खनन जोरों पर हो रहा है। नर्मदापुरम जिले में एनजीटी के आदेश की खुलेआम अवहेलना की जा रही है। जिले में बीते आठ महीने से रेत खदानें ठेकेदारों को हैंडओवर नहीं हो सकी है। तीन समूहों में नर्मदापुरम जिले की 118 रेत खदानें है। मजूंरी नहीं मिलने से यह खदानें शुरू नहीं की जा सकी। इसके बावजूद दबंग रेत माफिया नर्मदा नदी से रेत निकालने का काम कर रहे है। इस अवैध काम से जहां माफिया मालामाल हो रहे हैं, तो वहीं सरकार को भी राजस्व का जबरदस्त नुकसान उठाना पड़ रहा है। बता दें मध्य प्रदेश में भिंड, मुरैना, शहडोल, बैतूल हरदा देवास धार आदि जिलों में सोन, चंबल, पार्वती, नर्मदा नदियों से अवैध तरीके से रेत निकालने का काम होता है। इन दिनों पार्वती नदी सूख गई है। लेकिन खनन जारी है। वहीं, माफियाओं का हौसला इतना बुलंद है कि कार्रवाई करने पहुंची टीम पर जानलेवा हमला करने से भी नहीं बचते। नर्मदापुरम जिला मुख्यालय की बात करें तो नर्मदा के करबला-खर्राघाट, जावली, आमखेड़ी डोंगरवाड़ा, बरंडुआ, पुलघाट-खोजनपुर, ग्राम रायपुर, मालाखेड़ी, बांद्राभान, सांगाखेड़ा पुल, निमसाडिय़ा, तवा पुल के आसपास सहित बाबई, सेमरी, सोहागपुर, पिपरिया, बनखेड़ी, सिवनीमालवा, डोलरिया सति अनेक रेत खदानें हैं। इन सभी खदानों पर रेत निकालने पर प्रतिबंध है, बावजूद यहां दिन-रात 24 घंटे ही हाईटेक पोकलेन मशीनों के माध्यम से रेत निकालने का काम जारी है।
उज्जैन (ब्यूरो) - एनसीपी नेता व महाराष्ट्र के पूर्व मंत्री बाबा सिद्दीकी की हत्या में शामिल एक आरोपी की तलाश में मुंबई पुलिस की टीम मध्यप्रदेश पहुंची है। पुलिस ने अब तक दो लोगों को गिरफ्तार किया है। हत्या में और लोगों के शामिल होने का संदेह है। एक पुलिस अधिकारी ने मुताबिक, मुंबई पुलिस की एक टीम मध्यप्रदेश पुलिस के साथ मिलकर आरोपी शिवकुमार गौतम उर्फ शिवा (जो उत्तर प्रदेश के बहराइच का रहने वाला है) की तलाश कर रही है। ऐसी आशंका है कि वह मध्यप्रदेश में छिपा हो सकता है और उसे मध्यप्रदेश के उज्जैन जिले और ओंकारेश्वर (खंडवा) में खोजा जा रहा है। रविवार शाम 7:30 बजे तक किसी का पता नहीं चल पाया है। उन्होंने दावा किया कि संदिग्ध आरोपी संभवत: लगातार अपना ठिकाना बदल रहा है। दो आरोपी गिरफ्तार क्राइम ब्रांच अधिकारी ने रविवार शाम को मुंबई में मीडिया को बताया, मुंबई पुलिस ने 15 टीमें गठित की हैं, जिन्हें महाराष्ट्र से बाहर भेजा गया है और यह पता लगाने के लिए जांच जारी है कि शूटरों को किसने रसद सहायता प्रदान की? पुलिस ने अब तक गिरफ्तार किए गए आरोपियों से दो पिस्तौल और 28 जिंदा कारतूस बरामद किए गए हैं...
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